जातीय जनगणना सबके हक़ की आनुपातिक हिस्सेदारी की राह खोलेगी: कमलनाथ
पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने भारतीय जनता पार्टी पर जातिगत सर्वेक्षण को कानूनी उलझनों में फंसाने का आरोप लगाते हुए आज कहा कि भाजपा सामाजिक हकमारी का प्रतीक है।
श्री कमलनाथ ने अपने ट्वीट में कहा कि भाजपा ‘जातिगत सर्वेक्षण’ को क़ानूनी तर्कों में उलझाकर बंद करवाना चाहती थी, लेकिन पटना उच्च न्यायालय ने इस पर लगी रोक को हटाकर हर वंचित, शोषित के लिए ‘सामाजिक न्याय’ ही नहीं बल्कि आने वाले समय में ‘आर्थिक न्याय’ का भी रास्ता खोल दिया है।
उन्होंने कहा कि जातीय जनगणना सबके हक़ की आनुपातिक हिस्सेदारी की राह खोलेगी और लोकतंत्र की दिशा नीचे-से-ऊपर की ओर जाएगी। भाजपा की सामंती सोच ग़ैर-बराबरी और दमन की रही है, इसीलिए वो ग़रीब-कमज़ोर के हक़ को मारने के लिए जातीय जनगणना की विरोधी है।