अपशब्दो एवं अपमानजनक बोल से प्रमोटी कलेक्टर से भागने लगे कर्मचारी अधिकारी
रामकिशोर दयाराम पवार
बैतूल, प्रदेश की डाँ मोहन यादव सरकार में एक जिला कलेक्टर ऐसे भी है जिन पर अपने अधीनस्थ कर्मचारियो एवं अधिकारियो के संग तथाकथित अपशब्दो के उपयोग कर प्रताडि़त करने के गंभीर आरोप लगे है। 2011 बैच के प्रमोटी आईएएस नरेंद्र सूर्यवंशी निवाड़ी जिले में कलेक्टर रहने के दौरान विवादों में आए थे। वर्तमान में नरेन्द्र सूर्यवंशी बैतूल जिले में पदस्थ है। बीते विधानसभा उपचुनाव के दौरान निवाड़ी कलेक्टर रहे हैं नरेन्द्र सूर्यवंशी के खिलाफ तब कांग्रेस ने शिकायत की थी। इस समय उनके खिलाफ खुल कर किसी भी अधिकारी या कर्मचारी ने शिकायत नहीं की है लेकिन जिला कलेक्टर के मुखाग्र बिंदु से अपशब्दो को सुन कर अपमान का घुट पीने वालो में स्वर्ण जाति एवं समाज के लोगो की संख्या सबसे अधिक बताई जाती है। ऐसा कहा जा रहा है कि बैतूल जिले के कलेक्टर साहब बहुत जल्द आपा खो देते है और गुस्से में कुछ ऐसा बोल जाते है जिन्हे उन्हे बोलना शोभा नहीं देता। जिले के मुखिया होने के नाते उनकी खुल कर खिलाफत कोई नहीं करता लेकिन लोग अब कलेक्टर की मौजूदगी से अपनी पीछा छुड़ाने लगे है। कलेक्टर के राग दरबारी से लेकर आम आदमी तक को पता चल चुका है कि साहब बात – बात पर अपशब्दो का कहे या फिर तथाकथित अपमानक जनक शब्दो का उपयोग कर देते है..? सप्ताह में सोमवार को होने वाली टीएल बैठक में होने वाले शब्दो के प्रयोग की कुछ अधिकारियो ने वीडियो तक बना रखी है लेकिन पंगा ले कौन इस बात से वे चार कदम आगे आकर छै कदम पीछे हट जाते है। ऐसा कहा जा रहा है कि जिला स्तरीय बैठको में अपने वरिष्ठ अधिकारियो एवं कर्मचारियो की मौजूदगी में बैतूल जिला कलेक्टर द्वारा दी जाने वाली तथाकथित अपमान जनक अपशब्दो के चलते बैतूल जिला मुख्यालय के मुख्य नगर पालिका अधिकारी एक नहीं अनेक बार छुट्टी पर चले गए और आखिर में जब उनसे बर्दास्त नहीं हुआ तो वे अपना बोरियाबिस्तर बांधवा आए…? बैतूल से अपना तबादला करवा चुके ओमपाल सिंह भदौरिया भोपाल नगरीय निकाय प्रशासन में किसी अन्य नगर पालिका के सीएमओ बनने के बजाया वहां पर अटैच रहने में अपनी भलाई समझ चुके है। सूत्रो का कहना है कि पूर्व में शिवराज सिंह सरकार में केबिनेट मंत्री रहे ओपीएस भदौरिया के करीबी बैतूल मुख्य नगर पालिका अधिकारी श्री ओमपाल सिंह भदौरिया ने बैतूल से अपनी रवानगी डाल दी वही दुसरी ओर ऐसा कहा जा रहा है कि स्वंय जिला कलेक्टर ने श्री भदौरिया को बैतूल से हटाने के लिए राज्य सरकार के स्थानीय नगरीय प्रशासन को पत्र लिखा था। इधर जल संसाधन विभाग के एक अधिकारी ने नल जल योजना को लेकर आयोजित बैठको एवं टी एल की बैठक में जिला कलेक्टर बैतूल द्वारा अपमान जनक शब्दो का प्रयोग करने पर अपना दर्द मीडिया के समक्ष बयां किया। अधिकारी ने आफ द रिकार्ड बताया कि वर्तमान जिला कलेक्टर डाटते – फटकारते कोइ्र बात नहीं लेकिन उनके द्वारा अपशब्दो का उपयोग मैं अब बर्दाश्त नहीं कर पा रहा हूं इसलिए मैने अपने वरिष्ठ अधिकारियो से अपने तबादले की गुहार लगाई और मैं बैतूल से जा रहा हूं। ऐसा नहीं है कि बैतूल कलेक्टर के खिलाफ कोई पहली बार किसी अधिकारी या कर्मचारी ने कोई शिकायत की है। इसके पूर्व चिचोली में पदस्थ तहसीलदार श्री तिवारी के संग कलेक्टर बैतूल की जम कर तू – तू मै – मैं हो चुकी है। प्रभात तिवारी को चिचोली से बैतूल औश्र अब बैतूल से जिला पंचायत की लूप लाइन की कुर्सी पर बैठा चुके नरेन्द्र सूर्यवंशी की कार्य प्रणाली का सबसे बड़ा शिकार राजस्व महकमा है। अनेक पटवारी आर आई को ठिकाने लगाने में श्री सूर्यवंशी का कोई मुकाबला नहीं है। जानकार सूत्रो का यहां तक कहना है कि जिला कलेक्टर ने बीते महीने भैसदेही में मुख्यमंत्री के एक कार्यक्रम में जिले के दबंग भाजपा नेता एवं जिला पंचायत के सदस्य राजा ठाकुर को ही मुख्यमंत्री के बगल की कुर्सी से उठवा दिया था, जिसको लेकर भैसदेही क्षेत्र के भाजपाईयों में गहरा असंतोष फैल गया था।